Made to Stick Book Summery in Hindi || आपके प्रोडक्ट की तरफ आपके कस्टमर को कैसे अट्रेक्ट करे ?

 हेलो दोस्तो आपका  एक बार फिर हमारी ब्लॉग साइट  हिंदी बुक समरीज में स्वागत है जहाँ पर आप फेमस बुक की समरीज पढ़ते है और अपनी लाइफ में सक्सेस की तरफ अपना कदम बढ़ाते है | अगर आप बहुत सारे प्रोडक्ट के रिव्यु के बारे मे जानना चाहते है तो आप हमारी दूसरी ब्लॉग साइट  प्रोडक्ट कंसलटेंट पर जा सकते हो।




तो दोस्तो आज की यह बुक समरी एक बहुत ही फेमस बुक की है जिसमे आप अपने आईडिया को असरदार बनाने के बारे में जानोगे और इस बुक समरी का नाम है - "मेड टू स्टिक। " तो चलो शुरू करते है। 

अबाउट बुक

क्यों सच के बजाए लोगो के दिमाग मे झूठी बात बेठ जाती है ? एक प्रोफेशनल के रूप में , आप अपने आइडियाज को कैसे असरदार बना सकते हो ? इस बुक में , आप उन रॉचक कहानियों के बारे में जानोगे जो आपके आँखें खोल देगी और आपके आइडियाज को पहले से ज्यादा असरदार बना देगी। 

अगर आप एक टीचर , राइटर , बिज़नसमैन या पॉलिटिशियन है , तो ये बुक आपके लिए ही है। 

ये बुक किन्हें पढ़नी चाहिए 

* एम्प्लॉयीज को

* टीचर्स को 

* कैंपेन मैनेजर्स को

* जॉर्नलिस्ट को

* ब्लॉगर को। 

ऑथर के बारे में 

इस बूक के ऑथर चिप हीथ और डेन हीथ है जो कि तीन बेस्ट सेलर बुक के ऑथर है। 

introduction



पहली बात तो ये की इसे क्यों पढ़नी चाहिए ?

इस समरी को फिनिश करने के बाद आपको इन सारे सवालों का जवाब मिल जाएगा ;

1. आप ऐसा क्या करे कि आपके कस्टमर को आपका मैसेज या आपका प्रोडक्ट याद रहे ?

2. आप क्या करे कि आपका कस्टमर आपके मैसेज पर एक्ट करे ?

3. अपने कस्टमर का ध्यान खींचने के लिए आप क्या करे ? 

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एक स्टोरी को यादगार बनाने के लिए 6 प्रिंसिपल है जिसे सक्सेस वर्ड में याद किया जा सकता है। यानी s से अपने मैसेज को सिंपल बनाये , u से अपने मेसेज को अनएक्सपेक्टेड रखे , c से अपने मैसेज को कॉन्क्रीट , अगले c से क्रेडिबल , e से मैसेज को इमोशनल रखे और s से अपने मैसेज में स्टोरी डाले। सक्सेस वर्ड में एक और s आता है लेकिन लास्ट वाले s का कोई प्रिंसिपल नही है |

Chapter 1.  Simple



किसी भी अनप्रेडीकटेबल खतरनाक हालात में कोई प्लान मुश्किल से ही काम करता है | कहने का मतलब यह है की आपको अपने मेसेज को सिंपल रखना पड़ेगा , दूसरे सब्दो में कहे तो आपके आईडिया का मैन मैसेज , कोर मैसेज मालूम होना चाहिए ताकि जिसे भी वो कोर मेसेज पता हो वो उस कोर मेसेज के according अपने प्लान चेंज करता रहे। 

अब आईडिया का कोर पता होने के लिए आपको पालतू के आइडियाज हटाने पडेगे , जो कि आसान है ...... मुश्किल है तो उन इम्पोर्टेन्ट आइडियाज को रिमूव करना जो मोस्ट इम्पोर्टेन्ट नही है।  मगर आपको केयरफुल रहना पड़ेगा कि आप अपने इम्पोर्टेन्ट आईडिया को न हटा दे। अब कोर मैसेज तयार करने के लिए 2 स्टेप है-

पहला स्टेप : कोर मालूम करे 

स्टेप दूसरा : सक्सेस चेकलिस्ट [यानी सिंपल ,unexpected , concrete , credible , emotional, and stories]   का उपयोग करके कोर का ट्रांसलेट करे | 

ज्यादा कॉम्पेक्ससिटी से लोग बेकार की चीजें चुन लेते है और क्रिटिकल चीजो को छोड़कर उन्हें अपनी प्रायोरिटी बना लेते है। और दूसरा स्टेप होगा कि सक्सेस की चेकलिस्ट को यूज़ करके कोर को ट्रांसलेट किया जाए। किसी पेरेग्राफ को चेक कर जो आपने लिखा हो और 6 प्रिंसिपल को लेकर एक चेकलिस्ट बनाये जिसके बारे में हमने पहले बात की।

chapter 2. ; unexpected 



"डेनियल मेरी तरफ देखो " ! फादर ने अपने बच्चे से कहा , बच्चे की अटेंशन पाने के लिए पेरेंट्स ऐसा ही करते है | हालांकि अटेंशन कभी मांगी नही जाती | अटेंशन ऐसी कीमती चीज होती है जिसे आप मांग नही सकते , ये आपको खुद ही मिलती है। और इसे पाने के लिए मेहनत करनी पड़ती है। 

मगर सिर्फ हमेशा अटेंशन पाने की कोशिस में ना लगे रहे , इसमे कुछ फन भी होना चाहिए , इसे entertaining और अटेंशन ग्रेबिंग दोनो होना चाहिए  | यहाँ हम दो सिंपल सवालो पर फोकस करेंगे , पहला ये है कि कैसे मुझे लोगो का अटेंशन लेना है और दूसरा की कैसे वो अटेंशन बनाये रखना है। 

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surprise और इंटरेस्ट ये दो इमोशन हमारे सवाल का जवाब है | सरप्राइज से हमे अटेंशन मिलती है जबकि इंटरेस्ट से इसे बनाये रखा जा सकता है। एक बेहवीयर इकोनॉमिस्ट जॉर्ज लोविंस्टन ने कहा था कि किसी चीज को किसी के लिए इंटरेस्टिंग बनाना बहुत सिंपल है , आपको बस उस इंसान को क्यूरियस बनाना है यानी कि एक मिस्ट्री क्रिएट करनी है |

और वो इंसान तभी क्यूरियस होगा जब उसे फील होगा कि उसकी नॉलेज में कोई गैप है और इसी को उन्होंने गैप  थ्योरी ऑफ क्यूरियोसिटी का नाम दिया है। इस गैप ऑफ क्यूरिऑसिटी की वजह से हमे मूवीज इंटरेस्टिंग लगती है क्योंकि लोग यही सोचते रहते है कि "अब क्या होगा " ? इसी वजह से ही लोगो को मिस्ट्री नोवेल्स अच्छे लगते है क्योंकि नोवेल्स उनसे पूछता है कि  "ये किसने किया " ?

मिस्ट्री एक खुजली की तरह है जिसे खुजाए बिना आपको चेन नही पड़ता है | अगर आप चाहते है कि ये उनके दिमाग मे चिपक जाए तो आपको नॉलेज में ये गैप उन्हें फील कराना पड़ेगा ताकि वो और ज्यादा जानने के लिए क्यूरियस हो जाये।

chapter 3. : कॉन्क्रीट 



क्यों एशियन स्टूडेंट्स हर चीज में अमेरिकन स्टूडेंट्स को पीछे छोड़ देते है क्योंकि उन्हें बचपन मे हर चीज जिंदगी में दिखाकर समझायी जाती है ? आइये इसे समझते है अमेरिकन और एशियन दोनो स्टूडेंट्स अपने कांसेप्ट को मेमोराइज करने के लिए इस्तेमाल करते थे और वो था रट्टा। 

बेशक ये इम्पोर्टेन्ट है और बेशक ये स्टैंडर्ड प्रोसीजर भी है जो हर जगह इस्तेमाल होता है , मगर Asian स्टूडेंट्स में जो डिफरेंट बात थी वो ये की उन्होंने रट्टा के अलावा भी अलग टेक्निक्स यूज़ की थी। चलो दो मैसेज को examin करके देखते है कि जैसे आपको कॉन्क्रीट प्रिंसिपल अच्छे तरीके से समझ मे आ जायेगा  | 

पहला मेसेज ; डायरिया से हर साल लाखों बच्चो की मौत होती है ये गरीब देशों में सबसे ज्यादा मोत की वजह है | इससे मरने वाले बच्चे dihydretion से मर जाते है जो लबे टाइम से होने वाले डायरिया की वजह से होता है | इससे बचने से के लिए एक सिंपल सलूशन है जो एलेक्टरोलेट्स , मिनरल्स और वाटर से बनता है जिसे ओआरएस के नाम से जाना जाता है।  

अब पहले मेसेज को analyse करते है ; इस मैसेज में आपको डायरिया की प्रॉब्लम के बारे में पता चला और साथ ये भी पता चला और साथ मे ये भी पता चला कि इससे हम कैसे बच सकते है | बस आपको घर मे पड़े नमक और चीनी को मिलाना है और ओआरएस सोलुसशन तैयार जिससे हम डायरिया से बच सकते है |

अब हमें ये दूसरा मेसेज इसीलिए याद रहेगा क्योंकि ये कॉन्क्रीट है यानी इसमे जो चीजे दी गयी है वो आप रियल लाइफ में यूज़ करते हो | यानी कॉन्क्रीट चीजे |

chapter 4. ; क्रेडिबल 



ड्यूओडेनल उल्सर सबसे कॉमन टाइप का अल्सर है , ये उतना जानलेवा तो नही है मगर बहुत पेनफुल होता है | जब आप ... एक मिनट , हम यहाँ अल्सर के बारे में क्यों बात कर रहे है ? चलो में एक्सप्लेन करता हु | ज्यादा पुरानी बात नही है जब लोगो को लगता था कि पेट मे ज्यादा एसिड बनने की वजह से अल्सर होता  है। 

पेट मे तेज दर्द उठना इसका एक सिम्पटम है और लोग इसके लिए पेन रिलीवर ले लेते है | मगर इसका पक्का इलाज नही होता था | कुछ सालो बाद researches ने एक डिस्कवरी करके पता लगाया कि अल्सर एक खास तरीके के बैक्टिरिया से होता है। ये एक बड़ी खोज थी जिसका मतलब था कि कोई भी सिंपल एंटीबायोटिक अल्सर को ठीक कर सकती है। 

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लेकिन ऐसा नही है , दरअसल scientific कम्युनिटी ने   उनकी रिसर्च पर यकीन करने से इनकार कर दिया। ऐसा क्यों हुआ? इसका जवाब आपको आगे के पेरेग्राफ में मिलेगा। पहली प्रॉब्लम तो यह थी कि scientist ये बात जानते थे कि हमारे पेट का एसिड इतना स्ट्रांग होता है कि ये एक मीट के टुकड़े को भी गला दे  तो भला इसमे बेक्टेरिया कैसे सर्वाइव कर सकते है ? 

दूसरी प्रॉब्लम थी सोर्स , जब ये रिसर्च की गई उस टाइम ऐसा कोई तरीका नही था कि ये दोनों reachers पूरी क्रेडिबिलटी के साथ लोगो को यकीन दिला सके | और फाइनली तीसरी बात थी इनकी लोकेशन। दोनो resercer ऑस्ट्रेलिया के पर्थ में रहने वाले थे। उन दिनों ये जगह इतनी क्रेडिबल नही मानी जाती थी की लोग ये मान ले कि यह पर कोई इम्पोर्टेन्ट रिसर्च करके किसी बीमारी का इलाज ढूंढ सके। 

तो हम आपको यहाँ कुछ पॉइंट बता रहे है जिनका प्रयोग आप आपको क्रेडिबल साबित करने में कर सकते हो। पहला अथॉरिटी ; जितनी ऑथोरिटी आप अपनी स्टोरी में डालोगे उतनी ही वह बिलिवेबल बनेगी।

 दूसरा डिटेल ; लोगो को डिटेल्स काफी अच्छी लगती है , जितनी ज्यादा डिटेल होंगी आपको स्टोरी में क्रेडिबिलटी उतनी ज्यादा आएगी।

 तीसरा स्टेटिस्टिक्स ; स्टेटिस्टिक्स के नम्बर कोई खास मैटर नही करते मगर उसके पीछे की स्टोरी और कॉन्टेक्ट्स आपकी स्टोरी में क्रेडिबिलटी लाते है |

चौथा टेस्टेबल एक्सपीरियंस ; इससे पहले की आप लोगो को कुछ बेचे पहले उन्हें उसका एक्सपीरियंस लेने दे। अगर आपका प्रोडक्ट वाकई में डिसर्विंग है तो उनका एक्सपीरियंस आपके प्रोडक्ट की क्रेडिबिलटी बड़ा देगा।

चैप्टर 5 ; इमोशनल 



एक बार लोगो के एक ग्रुप पर एक एक्सपेरिमेंट किया गया जहाँ उन्हें बोला गया कि उनको सर्वे करना है - जिनके बदले उन्हें 5$ मिलेंगे। (ये सर्वे तो बहाना था ताकि उन सबके पास पैसे आये ) सर्वे खत्म करने के बाद उन सबको 5$ दिए गए और साथ ही एक एनवलप भी जिसमे ये लिखा था "जोम्बिया में भारी बारिश हो रही है जिसके चलते 3 मिलियन जोम्बीअन्स भूखे मर रहे है "  |

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आप चाहे तो इन्हें पैसे डोनेट कर सकते है। उन्होंने ये एक्सपेरिमेंट दुबारा किया मगर इस बार लेटर में लिखे शब्द चेंज कर दिए "सात साल की इस लड़की जेन को डोनेशन देकर आप इसे बेहतर जिंदगी जीने  का मौका दे सकते है "| और जो रिजल्ट मीले वो हैरान करने वाले थे | पहले मेसेज पड़ने वालो ने 1.14$ डोनेट किये जबकि दूसरा मेसेज पढ़ने वालों ने 2.38$ डोनेट किया जो पहले से डबल थी। 

कहने का मतलब है की लोगो को कोई प्रॉब्लम बताकर उसे एनालाइज करवाना और उस पर analytically एक्ट करवाने से ज्यादा आसान है कि उनके इमोशन का इस्तेमाल किया जाए। जब लोगो ने पहला वाला मेसेज पढ़ा तो उन्होंने situation को एनालाइज किया और उसमें एक बड़ी प्रॉब्लम नजर आयी। उन्हें लगा कि उनकी थोड़ी सी रकम डोनेट करने से सिचुएशन में ज्यादा फर्क नही आने वाला। 

मगर जब दूसरे मेसेज में छोटी लड़की जेन का इस्तेमाल किया गया तो वो लोगो के इमोशन को छू गया , इसने उन्हें सिचुएशन को एनलेटिकली के बजाय इमोशनली सोचने पर मजबूर कर दिया और इमोशन हमेशा लॉजिक से स्ट्रांग होते है। 

आप इमोशन को एक तरीके से अपने बिज़नस में कैसे यूज़ कर सकते है आइये इसे समझते है। लोग सबसे ज्यादा किसकी फिक्र करते है ? फैमिली  ?  फ्रेंड्स ?  नही , खुद की। चाहे कितना भी छुपाने की कोशिश करे। मगर सच यही है कि हम सब पहले अपने बारे में सोचते है फिर बाकी चीजो की फिक्र करते है।

चैप्टर 6. स्टोरीज़ 



इस चैप्टर में हम सीखेंगे की किस तरह स्टोरीज से लोगो को इन्फ्लुएंस किया जा सकता है। यहां में आपको एक फेमस नर्स की स्टोरी बता रहा हु जो एक हॉस्पिटल के ICU में न्यू बोर्न बेबीज़ की देखभाल करती थी। एक बार जब वो अपने काम के दौरान एक बेबी का ध्यान रख रही थी तो अचानक उसने देखा कि बेबी का कलर ब्लू पड गया है। जिसका मतलब था कि उसे सास लेने में प्रॉब्लम हो रही थी। 

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ये बरीथिंग प्रॉब्लम का एक कॉमन सिम्पटम होता है। उस नर्स ने तुरंत डॉक्टर को बुलाया और डॉक्टर ने लंग्स ट्रीटमेंट के लिए स्टैण्डर्ड प्रोसिजर शुरू कर दिया। तभी उस नर्स को पहले का एक केस याद आ गया जिसमें सिम्पटम सेम थे मगर लंग्स की नही हार्ट की प्रॉब्लम थी। नर्स ने देखा कि वो डॉक्टर उस बेबी के हार्ट के बजाए लंग्स का ट्रीटमेन्ट कर रहा था। 

नर्स ने तुरंत एक्शन लिया और डॉक्टर से कहा कि सब कुछ छोड़कर जल्दी से बेबी का हार्ट का ट्रीटमेंट शुरू करे। हालांकि हार्ट मोनिटर नॉर्मल प्लस दिखा रहा था फिर भी वह हार्ट के ट्रीटमेंट के लिए इंस्टिक्ट करती रही। डॉक्टर ने जब हार्ट का ट्रीटमेन्ट किया तो उन्हें पता चला कि नर्स एकदम सही बोल रही थी , उसके हार्ट में ही प्रॉब्लम थी और ट्रीटमेंट के बाद बेबी का कलर फिर से नॉर्मल हो गया था। 

इस स्टोरी की वजह से लाखों जाने बच चुकी है क्योंकि जब भी कोई नई नर्स ये स्टोरी सुनती है तो ये स्टोरी उसके दिमाग मे छप जाती है और जब ये उसके साथ सिचुएशन होती है तो वो इस स्टोरी से इंफ्लून्स होकर एक्ट करती है और एक बच्चे की जान और बच जाती है। 

conclusion



दो दोस्तो इस समरी में हमने 6 प्रिंसिपल के बारे में जाना जो सक्सेस के नाम से याद किये जा सकते है। जो है --

1.S से SIMPLE

2.U से UNEXPECTED

3.C से क्रेडिबल

4. C से CONCRETE

5.E से EMOTIONAL

6. S से STORIES 

तो दोस्तो ये बुक समरी तो यही पर खत्म होती है | अगर आप इस बुक के बारे में और पढ़ना चाहते है तो में आपको कुछ आर्टिकल के लिंक दे दूंगा जिन्हें आप पढ़ सकते है।

 article 1. 

article 2.

ARTICLE 3. 

और अगर ये समरी आपको अच्छी लगी हो तो अपने दोस्तों को शेयर करना न भूले | और आपको ये कैसी लगी कमेंट सेक्शन में जरूर बताएं। और मिलते है फिर एक और इंटरेस्टिंग बुक समरी के साथ। धन्यवाद।

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